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एंटनी के बयान से अपूरणीय क्षति: आडवाणी
जनता जनार्दन डेस्क ,
Aug 11, 2013, 13:55 pm IST
Keywords: भाजपा वरिष्ठ नेता लालकृष्ण आडवाणी नियंत्रण रेखा पांच भारतीय सैनिकों की हत्या रक्षा मंत्री ए के एंटनी के बयान विवाद अपूरणीय क्षति सरकार पर तेलंगाना मुद्दे सत्तारूढ पार्टी BJP Leader LK Advani LC Killing Five Indian Soldiers Defence Minister AK Antony's Statement Controversy Irreparable Damage On The Telangana Issue Ruling Party
![]() आडवाणी ने अपने ब्लाग में लिखा, ‘तेलंगाना मुद्दे से गलत ढंग से निपटने के कारण संसद के वर्तमान सत्र में कामकाज बाधित रहा है। लेकिन पिछले सप्ताह नियंत्रण रेखा पर एक गंभीर त्रासदी सामने आई जिसके कारण सरकार की छवि को अपूणीय छति पहुंची है विशेष तौर पर त्रासदी के दिन रक्षा मंत्री ए के एंटनी के बयान से जुड़ी गड़बड़ी के कारण।’ उन्होंने कहा, ‘अगर पाकिस्तानी सेना नियंत्रण रेखा पर हमारे जवानों पर हमला करती है और पांच सैनिकों की हत्या कर देती है और भारतीय संसद एंटनी के बयान से क्षुब्ध हो और रक्षा मंत्री को निशाना बनाती हो और पहले दिन दिये गए बयान को वापस लेने के लिए बाध्य करती है और वे अपने बयान को बदलते हैं तब यह पाकिस्तान के खिलाफ राष्ट्रीय भावना का प्रदर्शन करता है।’ आडवाणी ने कहा कि तेलंगाना के बारे में घोषणा के कारण संसद के वर्तमान सत्र के पहले सप्ताह में कामकाज नहीं हो सका। आंध्र के कांग्रेस सदस्यों के हंगामे के कारण एक दिन भी कामकाज नहीं हो सका, न तो प्रश्नकाल चला सका और न ही कोई अन्य काम हुआ। भाजपा नेता ने अपने ब्लाग में लिखा, ‘41 वर्षों के अपने संसदीय जीवन में मैंने ऐसी स्थिति नहीं देखी जब किसी भी सरकार ने संसद सत्र में ऐसी अव्यवस्था पैदा की जैसा कि संप्रग सरकार ने वर्तमान मानसून सत्र में किया है।’ आडवाणी ने कहा कि भाजपा सदस्य सरकार से अपनी पार्टी के सदस्यों को नियंत्रित करने को कहते रहे लेकिन कोई ऐसी पहल नहीं दिखी जब इस दिशा में कोई प्रयास किया गया हो। उन्होंने कहा कि किस तरह से अब सत्तारुढ़ पार्टी सत्र के शेष दो सप्ताह में कामकाज चलाने की योजना बना रही है। उन्होंने कहा कि तेलंगाना राज्य के गठन के बारे में भी कांग्रेस पार्टी में कोई सहमति नहीं है और आंध्र से कांग्रेस के सदस्य नये राज्य के गठन का विरोध कर रहे हैं। आडवाणी ने कहा, ‘अब यह हो रहा है कि तेलंगाना के लोगों को यह लग रहा है कि सत्र से पहले इसकी घोषणा चुनाव को ध्यान में रखते हुए की गई और सत्तारुढ़ पार्टी उनका फिर इस्तेमाल करना चाहती है।’ |
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