फीफा विश्‍व कप 2018 फाइनलः आंसू और गौरव; हारने के बावजूद क्रोएशिया ने जीता दिल

फीफा विश्‍व कप 2018 फाइनलः आंसू और गौरव; हारने के बावजूद क्रोएशिया ने जीता दिल मॉस्कोः अपनी दिल्ली की आबादी में पांच से अधिक क्रोएशिया जैसे देश समा जाएं, उस चालीस लाख की आबादी वाले देश ने अगर फ्रांस से आखिरी तक मुकाबला किया तो यह उसकी जीत ही है. फ्रांस भले ही दुनिया का फुटबॉल चैम्पियन बन गया है, पर रविवार को रूस के लुज्निकी स्टेडियम में खेले गए बेहद रोमांचक और नाटकीय मैच में पहली बार विश्व कप खेल रही क्रोएशिया ने लोगों का दिल जीत लिया.

बिग बी अमिताभ बच्चन तक का ट्वीट था, कप जीतने के लिए फ्रांस को बधाई, पर दिल जीतने के लिए क्रोएशिया को बधाई. इस मैच में कप भले ही फ्रांस ने जीता हो, लेकिन दुनिया के करोड़ों फुटबॉल प्रेमियों का दिल क्रोएशिया की टीम ने जीता। ये टीम पहली बार फुटबॉल का वर्ल्ड कप खेल रही थी। और पहली ही कोशिश में इस टीम के धुंरधरों ने दुनिया के कई नामी-गिरामी देश को मात दिया और फाइनल तक पहुंच गई।

40 लाख की आबादी वाली क्रोएशिया की टीम ने फुटबॉल के दीवानों प्यार करने के लिए एक नयी टीम दी, जो उनके उम्मीदों पर एकदम सटीक थी। रविवार को रूस के लुज्निकी स्टेडियम में मैच के बाद बेहद भावुक माहौल था। आंसू दोनों ही टीम के खिलाड़ियों के बह रहे थे। फ्रांस को 20 बाद ये गौरव हासिल करने का मौका मिला था, तो क्रोएशिया ने अपने पहले ही दम में दुनिया को चौका दिया था।

फाइनल का मुकाबला क्रोएशिया के लिए थोड़ा बेडलक रहा। पहली बार फाइनल खेल रही क्रोएशिया किसी भी तरह के दवाब में नहीं थी। वो उसी तरह की फुटबाल खेल रही थी जिस तरह की पूरे विश्व कप में खेलती आ रही थी। उसने फ्रांस पर दवाब बनाए रखा और गेंद अपने पास ज्यादा रखी। हालांकि फ्रांस पहले हाफ की समाप्ति तक 2-1 से आगे थी। इसमें सही मायने में क्रोएशिया की गलती थी। 18वें मिनट में ऐसा पल आया जो अभी तक विश्व कप के फाइनल में कभी नहीं आया और जिसने क्रोएशियाई टीम तथा प्रशंसकों को निराश कर दिया।

फ्रांस को फ्री किक मिली जिसे एंटोनी ग्रीजमैन ने लिया। ग्रीजमैन की किक को क्लीयर करने के प्रयास में क्रोएशिया के माकियो मांजुकिक आत्मघाती गोल कर बैठे। उन्होंने अपने हेडर के जरिये गेंद को बाहर भेजना चाहा, लेकिन गेंद सीधे नेट में गई और फ्रांस बिना प्रयास के 1-0 से आगे हो गई। यह विश्व कप के फाइनल में किया गया पहला आत्मघाती गोल है।

इस गोल के बाद क्रोएशिया की टीम में निराश फैल गई। इस मैच को क्रोएशिया की राष्ट्रपति कोलिंडा ग्रबर-किटारोविक भी देख रहीं थी। उन्होंने लगाातार खिलाड़ियों का हौसला बढ़ाये रखा। मैच में इस टीम ने वापसी की कोशिश की। फ्रांस के खिलाफ दो गोल भी किये। लेकिन फ्रांस के धुरंधर मैच को 4-2 के स्कोर से अपने नाम करने में सफल रहे। मैच के बाद ट्राफी वितरण समारोह में भावनाएं उफान मार रही थीं।

क्रोएशिया की राष्ट्रपति अपने देश के खिलाड़ियों से मिल रही थीं, इस दौरान माकियो मांजुकिक का राष्ट्रपति से मिलने का नंबर आया। राष्ट्रपति के पास पहुंचते ही वे खुद पर काबू नहीं रख सके, उनकी आंखों से आंसू से छलक पड़े। लेकिन राष्ट्रपति ने खुद इस खिलाड़ी के आंसू पोछे। दरअसल मांजुकिक अपनी ही टीम में गोल दागने के आत्मग्लानि से उबर नहीं पा रहे थे। राष्ट्रपति ने उनकी खेल भावना की तारीफ की।
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