मायावती और सोनिया गांधी आमने-सामने
जनता जनार्दन संवाददाता ,
Feb 02, 2012, 14:06 pm IST
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सीतापुर/बाराबंकी: मुख्यमंत्री और बसपा सुप्रीमो मायावती ने पहली चुनावी सभा में केंद्र को निशाने पर लेते हुए सीधा आरोप लगाया है कि केंद्र की यूपीए सरकार के 31 माह के कार्यकाल में 62 बड़े घोटाले हुए हैं। इन घोटालों में 20 लाख करोड़ रुपये की चपत लगी है। उन्होंने कहा, यूपीए सरकार सीबीआई और सीएजी का निजी हित में दुरुपयोग कर रही है। चुनाव के समय एनआरएचएम घोटाले के मामले में जिस तेजी से सीबीआई की जांच चल रही है, उससे केंद्र की नीयत का पता चलता है। टूजी स्पेक्ट्रम और कॉमनवेल्थ घोटाले भी हुए, लेकिन उनकी जांच इस कारण ठंडे बस्ते में पड़ी है क्योंकि उन घोटालों में कांग्रेस के लोग शामिल हैं। सपा शासन में हुए खाद्यान्न घोटाले की जांच को भी ठंडे बस्ते में डाल रखा है। मायावती ने बुधवार को सीतापुर से पहली चुनावी सभा का आगाज किया। बाराबंकी में दूसरी सभा हुई। दोनों सभाओं में उन्होंने यूपीए सरकार पर गैरकांग्रेसी शासित राज्यों के साथ सौतेला व्यवहार करने का आरोप लगाया। मायावती ने कहा कि घोटालों के जरिए कांग्रेस और भाजपा नेताओं ने करोडों-अरबों रुपया विदेशी बैंकों में जमा कर रखा है। अगर केंद्र सरकार विदेशों में जमा इस काले धन को वापस ले आए और इसका पचास फीसदी धन यूपी पर खर्च कर दे तो प्रदेश का कायाकल्प हो जाएगा। वेश बदलकर जनता को ठग रही हैं माया कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने बुधवार को उत्तर प्रदेश की पहली चुनावी सभा में मुख्यमंत्री मायावती पर सीधे आरोप जड़ते हुए सवाल किया कि चुनाव के ऐन वक्त पर 21 मंत्रियों की बर्खास्तगी से क्या उनकी सरकार का दामन साफ हो जाएगा? उनका आरोप था, केंद्र ने बसपा सरकार को एक लाख करोड़ रुपये से ज्यादा धन दिया पर सब घोटालों की भेंट चढ़ गया। अब चुनाव करीब आने पर भ्रष्टाचार के नाम पर मंत्रियों के इस्तीफे लेना वेश बदलकर जनता को ठगने सरीखा है। क्या उन्हें पांच साल मंत्रियों का भ्रष्टाचार नजर नहीं आया? उन्होंने कहा कि यूपी में घोटालों की भरमार है। शहीदे-आजम सरदार भगत सिंह इंटर कालेज के मैदान में अपने 14 मिनट के भाषण में सोनिया ने माया सरकार के भ्रष्टाचार और मिली-जुली सरकारों के कामकाज पर सीधे हमले किए। उन्होंने कहा, मौजूदा बसपा सरकार व इससे पहले की सरकारों में शामिल लोगों ने जनता के धन का इस्तेमाल अपना घर भरने में किया। घोटालों के कारण प्रदेश का अपेक्षित विकास भी नहीं हुआ। सोनिया ने कहा, 1977 की जनता पार्टी, बाद में सपा-बसपा, फिर भाजपा-बसपा गठबंधन की सरकारें, सभी एक ही थैली के चट्टे-बट्टे हैं। सोनिया की दूसरी सभा देवरिया केइंटर कॉलेज परिसर में थी। और सोनिया का मूड उखड़ा सभा में अपेक्षित भीड़ न जुटने की शिकन सोनिया के चेहरे पर साफ दिखी। रही-सही कसर स्थानीय सांसद और केंद्रीय मंत्री बेनीप्रसाद वर्मा के मुखर विरोध ने पूरी कर दी। |
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