'माँ मुझे आँचल दो' का लोकार्पण हिन्दी भवन में हुआ

जनता जनार्दन संवाददाता , May 10, 2017, 7:46 am IST
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'माँ मुझे आँचल दो' का लोकार्पण हिन्दी भवन में हुआ नई दिल्लीः दिल्ली के प्रसिद्ध सूर्य प्रभा प्रकाशन के तत्वावधान में बंगला की सुप्रसिद्ध लेखिका माधवी विश्वास द्धारा रचित उपन्यास "माँ मुझे आँचल दो" का लोकार्पण  हिन्दी भवन नई दिल्ली में पूरे साहित्यिक वातावरण में सम्पन्न हुआ।

पदमश्री डा.श्याम सिंह शशि के मुख्य आतिथ्य, राष्ट्रीय गीतकार डा. जयसिंह आर्य के सान्निध्य व अध्यक्ष महेश चन्द्र शर्मा पूर्व महापौर दिल्ली व आलोचक डा. नृत्य गोपाल व डा. नीलम राठी ने पुस्तक पर चर्चा करते हुए कहा कि लेखिका ने अपने उपन्यास में मानवीय पीड़ा को अच्छी तरह से जिया । खासतौर से महिलाओं की पीड़ा को उन्होने भली प्रकार उल्लेखित किया।

प्रकाशन द्धारा लेखिका के इस उपन्यास को 5100रू. देकर सम्मानित किया गया। संचालन बृज माधुरी आकाशवाणी की उदघोषिका चन्द्र वती शर्मा ने किया।

इस अवसर पर प्रकाशक महेन्द्र शर्मा सूर्य व डा.  नीलिमा शर्मा ने सभी अतिथियों का सम्मान प्रतीक चिन्ह, शाल,व श्री फल व पुष्प गुच्छ देकर किया।

मुरली वादक राजबीर सिंह देवसर ने अपनी मुरली की धुन से सभी का मन मोह लिया। शायर अशलम जावेद ने अपनी ग़जलों से सभी को झूमा कर रख दिया।

विशेष रूप से काव्य पाठ के लिए आमंत्रित राष्ट्रीय गीतकार डा. जयसिंह आर्य ने अपने गीत, ग़ज़ल, मुक्तकों से सभी को रसविभोर कर दिया।  उनके देश के शहीदों पर सुनाये गीत
"चमन से कौन चल दिया कली-कली उदास है
कि गाँव रो पड़े हैं तो गली-गली उदास है"
व बेटी पर सुनाये उनके  प्रसिद्ध गीत
"ओढ़कर जब मैं धानी चुनर जाऊँगी
सूना-सूना सा घर माँ का कर जाऊँगी" ने सभी को भाव विभोर कर दिया।

अन्त में कार्यक्रम की सफलता पर प्रकाशक महेन्द्र शर्मा सूर्य व डा.नीलिमा ने सभी का आभार व्यक्त किया.
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