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गुरुदास कामत बोले निजी कारणों के चलते दिया इस्तीफा

गुरुदास कामत बोले निजी कारणों के चलते दिया इस्तीफा
मुंबई: पूर्व केंद्रीय मंत्री एवं कांग्रेस की मुंबई इकाई के पूर्व अध्यक्ष गुरुदास कामत का कहना है कि उन्होंने निजी कारणों के चलते इस्तीफा दिया है और सामाजिक कार्य से किनारा नहीं किया है। 
 
राजनीति से सन्यास की घोषणा कर चुके कामत ने सोमवार को बताया कि राजनीति से रिटायर होने का मतलब सामाजिक कार्यों से रिटायर होना नहीं है। इस सप्ताह के अंत में विभिन्न एजेंसियां जो भी मुद्दा उठाएं या मदद की मांग करें, मैं लोगों के लिए उपलब्ध रहूंगा लेकिन पार्टी के ठप्पे के बिना।
 
एक बयान में कामत ने कहा कि मैं इस बात पर भी जोर देना चाहूंगा कि कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी और उपाध्यक्ष राहुल गांधी के लिए मेरे मन में बहुत सम्मान है और मेरा इस्तीफा केवल निजी कारणों की वजह से है। कामत का बयान इन खबरों के बीच आया है कि पार्टी नेताओं, खासकर राहुल गांधी द्वारा उपेक्षित किए जाने के बाद उन्होंने कांग्रेस छोड़ी है। 
 
वरिष्ठ कांग्रेसी नेता, 61 वर्षीय कामत ने कल राजनीति छोड़ने का एलान किया था। उन्होंने यह कदम ऐसे समय पर उठाया है जब अगले साल मुंबई में स्थानीय निकाय चुनाव होने वाले हैं जिनमें कांग्रेस सत्तारूढ़ शिवसेना भाजपा गठबंधन को हराना चाहेगी।
 
इस बीच, कांग्रेस के पूर्व विधायक कृष्णा हेगड़े ने आज मुंबई क्षेत्रीय कांग्रेस समिति के प्रमुख संजय निरूपम की आलोचना करते हुए कहा कि वरिष्ठ नेताओं को भरोसे में लेना चाहिए और उन्हें उनकी सेवाओं का प्रतिफल दिया जाना चाहिए।
 
एक बयान में हेगड़े ने कहा कि मैंने आलाकमान को निरूपम द्वारा की गई अध्यक्षों की नियुक्ति को रोकने के लिए कहा है। इन नियुक्तियों से पहले, ज्यादातर निर्वाचित प्रतिनिधियों से परामर्श नहीं किया गया। 
 
उन्होंने कहा कि मेरा परिवार 1965 से मुंबई कांग्रेस से जुड़ा है और हमने एच आर गोखले, एस के पाटिल, रामाराव आदिक, सुनील दत्त, मुरली देवड़ा, गुरदास कामत जैसी हस्तियों के साथ काम किया। 
 
(पूर्व मुख्यमंत्री) नारायण राणे के चुनाव तक हमने पार्टी के लिए काम किया। निष्ठावान एवं प्रभावशाली नेताओं को भरोसे में लेना चाहिए और उन्हें उनकी सेवाओं का प्रतिफल दिया जाना चाहिए।
 
हेगड़े ने कहा कि ब्लॉक अध्यक्षों की नियुक्तियों पर रोक लगानी चाहिए और नेताओं को मिलजुलकर काम करना चाहिए। बीएमसी चुनावों से पहले पार्टी में सकारात्मक अहसास होना चाहिए।
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