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'ढिश्कियाऊं' के डायलॉग अच्छे, पऱ उलझी है कहानी

'ढिश्कियाऊं' के डायलॉग अच्छे, पऱ उलझी है कहानी  नई दिल्ली: सनमजीत तलवार बतौर निर्देशक अपनी पहली फिल्म `ढिश्कियाऊं` से दर्शकों की पसंद पर खरे नहीं उतर पाए हैं। गैंगस्टर की कहानी बुनने के लिए तलवार ने चरित्रों का ऐसा खाका खींचा है जिससे दर्शकों को हताशा हाथ लगती है। तलवार काफी कोशिश करने के बाद भी निर्देशक राम गोपाल वर्मा की `सत्या` की छाप से उबर नहीं पाए हैं।

फिल्म में उच्च मध्यम वर्ग परिवार के इकलौते बेटे विकी (हरमन बावेजा) की कहानी है। विकी की मां का निधन हो गया है। पिता उसे समय नहीं देते है। ऐसे में मां की मौत के बाद वह अकेलापन महसूस करता है। प्यार और देखभाल की कमी उसे गैंगस्टर की दुनिया में धकेल देती है जहां उसके दिमांग की शांति मिलती है।

गैंगस्टर की दुनिया उसकी मुलाकात लखवा (सनी देओल) से होती है। लखवा विकी को एक नॉर्मल आदमी से गैंगस्टर विकी कारतूस में बदल देता है। अब उसका मकसद है माफिया वर्ल्ड में नाम कमाना। क्राइम की दुनिया तल्लीन विकी की मुलाकात होती अपने प्यार से यानी आयशा खन्ना से। प्यार में डूबा विकी अब बदल गया है।

वह क्राइम की दुनिया से बाहर आना चाहता है और अपने प्यार के साथ नॉमेल जिंदगी जीना चाहता है जिसकी कमी वह बचपन से मशहूर कर रहा था। विकी माफिया की दुनिया से बाहर आता है या नहीं, विकी और उसकी गर्लफ्रेंड के प्यार को मुकाम मिलता है या नहीं।

फिल्म की सबसे बड़ी यूएसपी है सनी देओल जो हरियाणवी किरदार में है। फिल्म के अंत तक समझ नहीं आता है कि वह विलेन के रोल में है या फिर मौजूद टाइम से पीडित। हरमन ने इस फिल्म के साथ कमबैक किया है। वे अपने रोल में जमे है। उन्होंने अपना बेस्ट देने की कोशिश की है लेकिन कुछ सीन में कॉन्फिडेंस की कमी झलकती है। पुलिस ऑफिसर के रोल में आदित्य पंचोली ठीक ठाक लगे है।

फिल्म में शिल्पा ने हरमन के साथ आइटम नंबर किया है। गाने के बोल है.. तु मेरे टाइप का नहीं। आइटम में शिल्पा बहुत ही सेक्सी लुक में नजर आई है। यह आइटम पहले से ही पॉपूलर है। फिल्म में एक्शन देखने को मिलेगा। उम्मीद है एक्शन मूवी लवर्स को फिल्म जरूर पसंद आएगी।
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